– नए साल में निवेश को लेकर चर्चाएं तेज़ हैं, लेकिन हर साल की तरह डराने वाली कहानियों पर भरोसा न करें. – 2024 में भी कई डरावनी भविष्यवाणियां की गई थीं, लेकिन अंत में बाज़ार ने 30-35% की ग्रोथ दिखाई.
– कोई नहीं जानता कि अगले साल बाज़ार कैसा प्रदर्शन करेगा. – लेकिन यह तय है कि लंबे समय में बाज़ार ऊपर जाता है, जबकि कम समय में बड़े झटके देखने को मिल सकते हैं.
– अपनी ज़रूरत और समयावधि के आधार पर तय करें कि आपको पैसा कहां लगाना है: – इक्विटी फंड्स: लंबे समय के लिए. – डेट फंड्स: सुरक्षित और कम अवधि के लिए. हाइब्रिड फंड्स: बैलेंस्ड पोर्टफोलियो के लिए.
– SIP (सिस्टमेटिक इन्वेस्टमेंट प्लान) अपनाएं. यह बाज़ार के उतार-चढ़ाव को संभालने में मदद करता है. – यदि आपके पास एकमुश्त राशि है, तो उसे डेट फंड्स में लगाएं और धीरे-धीरे इक्विटी या हाइब्रिड फंड्स में ट्रांसफर करें.
– पूरा पैसा एक साथ इक्विटी या हाइब्रिड फंड्स में न लगाएं, खासकर तब जब बाज़ार अपने ऊंचाई पर हो. – भारी गिरावट का असर झेलना मुश्किल हो सकता है.
– इक्विटी फंड्स में पैसे को लंबे समय तक रखें. – अपने निवेश को अलग-अलग हिस्सों में विभाजित करें और किसी एक पर निर्भर न रहें.
– दूसरों की भविष्यवाणियों या डरावनी कहानियों पर भरोसा न करें. – अपना फ़ाइनेंशियल प्लान खुद बनाएं और ज़्यादा रिसर्च करें.