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हां, बेचिए. मैं ज़ोर देता हूं.
आख़िरकार, हाल के महीनों में स्मॉल-कैप फ़ंड्स का हाल बेहाल रहा है. BSE SmallCap 250 इंडेक्स सितंबर 2024 से अब तक 18% से ज़्यादा गिर चुका है. उससे भी बुरा ये है कि स्मॉल-कैप स्पेस इस समय काफ़ी ज़्यादा महंगा हो गया है. ख़ासकर तब अगर आपने हाल के महीनों में ये सोचकर इनमें निवेश किया था कि ये फ़ंड्स लगातार ऊपर ही जाएंगे. अगर आप डर गए हैं, तो बेच दीजिए. और अगर आप मेरी मदद करना चाहते हैं, तो ज़रूर बेच दीजिए.
और, आप मेरी मदद क्यों नहीं करना चाहेंगे?
आपकी एग्ज़िट मेरी मदद कैसे करती है
जब आप म्यूचुअल फ़ंड यूनिट्स एक तय अवधि से पहले बेचते हैं (ये अवधि 15 दिन से लेकर 12 महीने तक हो सकती है), तो आप बस पैसे निकालकर चले नहीं जाते.
आप एग्ज़िट लोड भी देते हैं.
ये जल्दी पैसे निकालने की एक छोटी-सी पेनल्टी होती है.
और सोचिए, ये पैसा जाता कहां है? न तो फ़ंड मैनेजर को, न ही AMC को. ये पैसा वापस उसी म्यूचुअल फ़ंड में चला जाता है.
और फिर फ़ंड इस एक्स्ट्रा कैश का क्या करता है? वो और स्टॉक्स ख़रीदता है. ये उन निवेशकों के लिए फ़ायदेमंद है जो निवेशित रहते हैं.
जैसे मैं.
असल में, जब बाज़ार नीचे गिरते हैं, तब सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट्स (SIPs) सस्ते दाम पर ज़्यादा यूनिट्स ख़रीद पाते हैं. समय के साथ, इससे प्रति यूनिट औसत लागत कम हो जाती है और जब बाज़ार रिकवर करता है तो लॉन्ग टर्म निवेशकों को ज़्यादा मुनाफ़ा मिलता है. हम अनिश्चितता से डरते नहीं हैं, बल्कि इसे ज़्यादा ख़रीदने के एक मौक़े की तरह देखते हैं.
तो अगर आप अपने स्मॉल-कैप फ़ंड्स बेचना चाहते हैं, तो ज़रूर बेचिए.
लेकिन एक बात जान लीजिए—ये आपकी एक बड़ी गलती हो सकती है.
स्मॉल-कैप फ़ंड्स को चाहिए समय
स्मॉल-कैप फ़ंड्स में निवेश कभी भी शॉर्ट टर्म के लिए नहीं किया जाता. ये अजीब लग सकता है, लेकिन स्मॉल-कैप फ़ंड्स लंबे सफ़र के लिए बनाए जाते हैं. (हम हमेशा कहते हैं कि स्मॉल-कैप फ़ंड्स को कम से कम 7 साल तक होल्ड करना चाहिए.)
और ये पहली बार नहीं है जब स्मॉल-कैप फ़ंड्स ने बुरा दौर देखा हो.
ज़रा 2008 को याद कीजिए. उस साल BSE SmallCap 250 इंडेक्स लगभग 70% गिर गया था. लेकिन 2009 में वही फ़ंड्स न सिर्फ़ रिकवर हुए बल्कि 135% तक उछले. एक और उदाहरण—2018 में स्मॉल कैप्स क़रीब 19% गिरे. लेकिन 2021 तक वे 63% तक चढ़ चुके थे. ये पैटर्न बार-बार दोहराया जाता है—गहरी गिरावटों के बाद अक्सर तेज़ी से रिकवरी आती है.
निवेश में धैर्य सिर्फ़ एक गुण नहीं है, बल्कि ये एक ज़रूरत है.
लेकिन स्मॉल-कैप फ़ंड्स के साथ बने रहने की एक और ठोस वजह भी है.
स्मॉल-कैप फ़ंड्स चुनते हैं क्वालिटी स्टॉक्स
स्मॉल-कैप फ़ंड्स में निवेश करना, किसी इंडिविजुअल स्मॉल-कैप स्टॉक में सीधे निवेश करने से कहीं बेहतर है. अकेले दम पर सही स्टॉक चुनने की संभावना बेहद कम है—सिर्फ़ 11% स्मॉल-कैप स्टॉक्स ही कभी मिड या लार्ज कैप बन पाते हैं. और इससे भी बुरा ये कि 62% स्मॉल-कैप स्टॉक्स समय के साथ माइक्रो-कैप बन जाते हैं और सालाना महज़ 2% का रिटर्न देते हैं.
इसके मुक़ाबले, सबसे ख़राब प्रदर्शन करने वाले स्मॉल-कैप फ़ंड ने भी बीते 10 सालों में 14% से ज़्यादा का SIP रिटर्न (डायरेक्ट प्लान्स में) दिया है. इतनी शानदार परफ़ॉर्मेंस क्यों? क्योंकि फ़ंड मैनेजर सेलेक्टिव होते हैं. जहां 4,420 स्मॉल-कैप कंपनियां लिस्टेड हैं, वहीं फ़ंड मैनेजर्स ने 2024 में सिर्फ़ 692 कंपनियों पर ध्यान केंद्रित किया, और असली निवेश सिर्फ़ 518 में किया.
इसके अलावा, कुल स्मॉल-कैप कंपनियों में से केवल 11% ही 'हाई क्वालिटी' मानी जाती हैं, लेकिन जनवरी 2025 की पोर्टफ़ोलियो रिपोर्ट के अनुसार, ये ही कंपनियां स्मॉल-कैप फ़ंड होल्डिंग्स का 60% हिस्सा बनाती हैं. फ़ंड मैनेजर हाइप के पीछे नहीं भागते, बल्कि गहरी रिसर्च करते हैं. ये एक स्ट्रक्चर्ड अप्रोच है, जो सीधे स्टॉक्स उठाने से कहीं बेहतर है.
आख़िरी बात
अगर हर बार बाज़ार गिरने पर आपको बेचैनी होने लगती है, तो शायद ये समय है कि आप दोबारा सोचें—क्या स्मॉल-कैप में निवेश वाक़ई आपकी रिस्क लेने की क्षमता के अनुकूल है? स्मॉल-कैप्स की तेज़ ग्रोथ की संभावना होती है, लेकिन इसके साथ वोलैटिलिटी भी आती है. ये एक टाइट-रोप वॉक है.
तो अगर आपके पास स्मॉल-कैप्स के लिए धैर्य नहीं है, तो शायद यs निवेश कभी आपके लिए बना ही नहीं था. अगर आप अब भी सोच रहे हैं कि इस गिरावट के बाद स्मॉल-कैप फ़ंड्स से बाहर निकलें या नहीं, तो मैं आपको नहीं रोकूंगा. और अगर आप बाद में दोबारा लौटते हैं? तो शायद आपको बहुत ज़्यादा महंगे दाम पर एंट्री करनी पड़े.
अब मैं अपने फ़ंड्स होल्ड करके रखूंगा, जब तक बाज़ार फिर से स्थिर न हो जाए. जो कि हमेशा होता ही है.
तब तक के लिए धन्यवाद. मैं ख़ुशी से आपके छोड़े हुए यूनिट्स ले लूंगा.
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ये लेख पहली बार अप्रैल 07, 2025 को पब्लिश हुआ.